Ford Ecosport के कॉन्सेप्ट वर्जन को जनवरी 2012 में दिल्ली ऑटो एक्सपो में प्रदर्शित किया गया था। जिसका लॉन्च 2013 के मिड में किया गया। जिसे भारतीयों का जबरदस्त प्यार भी मिला। ईकोस्पोर्ट फोर्ड को एक ठोस मंच देने में कामयाब रही।
Ford Ecosport Production Ends : अमेरिकी कार निर्माता फोर्ड एक दशक से अधिक समय से भारतीय बाजार में भारी घाटे में चल रही थी, जिसके चलते कंपनी ने देश में अपने प्रोडक्शन को बंद करने का फैसला लिया। फोर्ड के भारत में दो प्लांट थे। एक गुजरात में अहमदाबाद के पास साणंद में स्थित है, और दूसरा तमिलनाडु में चेन्नई के पास स्थित है। साणंद प्लांट से फोर्ड ने अपनी छोटी कारों जैसे फिगो, फ्रीस्टाइल और एस्पायर का उत्पादन किया। वहीं चेन्नई प्लांट से फोर्ड ने इकोस्पोर्ट और एंडेवर का उत्पादन किया।
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सब- 4 मीटर सेगमेंट की शुरुआत करने वाली Ford EcoSport
भारत में फोर्ड ईकोस्पोर्ट 9 सितंबर 2021 को बंद की गई। जिसके बाद कंपनी ने साणंद प्लांट में उत्पादन बंद करने का फैसला लिया। हालांकि, निर्यात बाजारों के लिए कारों और इंजनों का उत्पादन फोर्ड के चेन्नई प्लांट में अब तक जारी है। लेकिन वह भी अब खत्म हो गया है। Ford EcoSport की आखिरी यूनिट को चेन्नई प्लांट से रोल आउट किया गया है।
बता दें, कि फोर्ड की भारत में अपना कारोबार फिर से शुरू करने की कोई योजना नहीं है। कार निर्माता ने इस साल की शुरुआत में अपनी साणंद फैक्ट्री टाटा मोटर्स को बेची थी। वहीं चेन्नई यूनिट को भी जल्द ही सेल किए जाने की उम्मीद है। Ford EcoSport को भारत में सब 4 मीटर SUV सेगमेंट की शुरू करने वाली एसयूवी माना जाता है।
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9 साल में खत्म हुआ Ford EcoSport का सफर
इस कार के कॉन्सेप्ट वर्जन को जनवरी 2012 में दिल्ली ऑटो एक्सपो में प्रदर्शित किया गया था। जिसका लॉन्च 2013 के मिड में किया गया। जिसे भारतीयों का जबरदस्त प्यार भी मिला। ईकोस्पोर्ट फोर्ड को एक ठोस मंच देने में कामयाब रही। जिसके बाद इसके नए जेनरेशन फिगो, एस्पायर और फ्रीस्टाइल भी आए। कंपनी ने इन कारों के निर्माण के लिए साणंद में एक नया उत्पादन प्लांट भी बनाया। अफसोस की बात है कि इन कारों ने उम्मीद के मुताबिक प्रदर्शन नहीं किया और यह फोर्ड के लिए इतना बुरा हो गया कि उनके पास भारत से बाहर निकलने के अलावा कोई दूसरा विकल्प नहीं था।
PLI स्कीम के बाद Ford का U Turn
इस साल की शुरुआत में फोर्ड ने घोषणा की है, कि उसे ऑटोमोबाइल क्षेत्र के लिए उत्पादन-लिंक्ड प्रोत्साहन (पीएलआई) योजना के तहत अपने प्रस्ताव के लिए भारत सरकार से मंजूरी मिल गई है। इसने भारत में फोर्ड प्रशंसकों को आशा की एक किरण दी, क्योंकि कंपनी इस बार प्योर इलेक्ट्रिक वाहन निर्माता के रूप में भारतीय बाजार में लौटने पर विचार कर रहा था। फोर्ड ब्रांड उन बीस कार निर्माताओं में शामिल था, जिन्हें ‘चैंपियन ओईएम इंसेंटिव स्कीम’ के तहत चुना गया था।

नोट : पीएलआई योजना में चयनित ओईएम को 25,938 करोड़ रुपये के बजटीय आउटले को मंजूरी दी गई है। फोर्ड को शामिल करना एक आश्चर्य के रूप में आया क्योंकि कार निर्माता ने पिछले साल सभी स्थानीय परिचालन बंद कर दिए थे। लेकिन यह उत्साह जल्द ही समाप्त हो गया क्योंकि फोर्ड ने घोषणा की कि वे पीएलआई योजना के तहत भी भारत में कोई और निवेश नहीं करने जा रहे हैं।
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